उत्तराखंड के पंच केदारों में से एक चतुर्थ केदार भगवान श्री रुद्रनाथ के कपाट कल 18 मई को ब्रह्म मुहूर्त में विधि विधान पूर्वक खुलेंगे। इससे पूर्व रुद्र हिमालय मे विराजित इस शिव धाम को गेंदों के पुष्पों से सजाया जा रहा है।
बात दें की चतुर्थ केदार भगवान श्री रुद्रनाथ के कपाट 8 मई को पौराणिक रीति रिवाजों और परंपराओं के बीच ब्रह्म मुहूर्त में ग्रीष्म काल के लिए श्रद्धालुओं के दर्शनों को खोले जाएंगे। चतुर्थ केदार भगवान रुद्रनाथ में भगवान शिव के मुख दर्शन होते हैं। यह भारत में इकलौता ऐसा मंदिर है, जहां भगवान भोलेनाथ के मुख की पूजा होती है।
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रुद्र हिमालय की 2290 मीटर की ऊंचाई पर स्थित चतुर्थ केदार भगवान रुद्रनाथ जी के मंदिर में भगवान शिव के मुख भाग के एकानन स्वरूप के दिव्य ओर अनुपम दर्शन होते हैं। यह भारत में इकलौता ऐसा मंदिर है, जहां भगवान भोलेनाथ जी के मुख की पूजा होती है।
कहा जाता है कि एकानन में रुद्रनाथ (चमोली), चतुरानन में पशुपतिनाथ (नेपाल) और पंचानन विग्रह के रूप में इंडोनेशिया में भगवान शिव के मुख बिंदु (मुख) के दर्शन होते हैं।

